एमपी के तीन जिलों के 3562 गांवों को मिलाकर बन सकता है नया संभाग, हलचल तेज

मध्यप्रदेश में एक बार फिर से संभाग बनाने की मांग तेज हो गई है। पुनर्गठन आयोग के सदस्य एसएन मिश्रा और मुकेश शुक्ला लगातार नए सिरे से सीमांकन की रूपरेखा तैयार कर रहे हैं। इसी बीच राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी ने सीएम डॉ मोहन यादव को पत्र लिख दिया है। इस पत्र में उन्होंने सतना को संभाग बनाने की मांग की है। जिससे विंध्य सियासत में हलचल मच गई है।

3 जिलों के 3562 गांवों को मिलाकर बन सकता है संभाग

राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी ने सतना को संभाग बनाने के लिए पन्ना, मैहर और सतना को शामिल करने की मांग सीएम मोहन यादव को पत्र लिखकर की है। बता दें कि, सतना जिले में 1816 गांव और 10 तहसीलें हैं। पन्ना जिले 1,033 गांव और 9 तहसीलें हैं। मैहर जिले में 713 गांव और 3 तहसीलें हैं। इन सभी जिलों को मिलाकर सतना को संभाग को बनाने की मांग गई है।

क्यों सतना बनना चाहिए संभाग

सतना और पन्ना जिले दोनों विकास में लगातार पिछड़ते जा रहे हैं। पन्ना की जनता को संभागीय मुख्यालय के काम के लिए सागर जाना पड़ता है। पन्ना की सागर से दूरी लगभग 215 किलोमीटर है। जबकि सतना से पन्ना की दूरी मात्र 75 किलोमीटर दूर है। ललितपुर-सिंगरौली परियोजना का काम तेजी से चल रहा है। इसके पूर्ण होते ही रेल मार्ग से भी दोनों जगह जुड़ जाएंगी। जिसके चलते सागर की जगह सतना का सफर पन्नावसियों के लिए ज्यादा आसान होगा। ऐसी ही चित्रकूट (मध्यप्रदेश हिस्सा) के लोगों को संभागीय कराने के लिए रीवा 131 किलोमीटर दूर पड़ता है। जबकि सतना की पन्ना से दूरी मात्र 77 किलोमीटर के लगभग है।

सतना-मैहर में सीमेंट उद्योग और पन्ना में हीरे की खदान

सतना जिले में सीमेंट उत्पादन के चूना पत्थर, गिट्टी और खनिज बड़ी मात्रा में पाई जाती है। इस वजह से सतना में सीमेंट उद्योग की शुरुआत 1950 में हुई थी। सतना में देश का 9-10 फीसदी सीमेंट उत्पादन होता है। मैहर जिले में सीमेंट की कई फैक्ट्रियां संचालित होती हैं। वहीं, पन्ना जिले में हीरे की खानों के लिए प्रसिद्घ है।

राज्य मंत्री प्रतिमा बागरी ने सीएम को लिखा पत्र

राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी ने सीएम मोहन यादव को पत्र लिखते हुए जिक्र किया कि पत्र में मेरे द्वारा माननीय मुख्यमंत्री जी के सतना प्रवास के दौरान सतना, मैहर एवं पन्ना जिले को एक नया संभाग सतना संभाग बनाए जाने का आग्रह किया गया था। क्योंकि रीवा संभाग एवं सागर संभाग 06-06 जिले शामिल है, वह भौगोलिक दृष्टि से काफी वृहद क्षेत्र में फेले होने के कारण क्षेत्रवासियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।

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